सुविचार
1. सदा सत्य बोलो|
2. मेहनत का फल मीठा होता हैं|
3. अपने से बडो का सम्मान करो|
4. सबका मालिक (परमेश्वर) एक हैं|
5. पपा से धृणा करो पापी से नहीं|
6. अहंकार मनुष्य के अंत (मृत्यु) की निशानी हैं|
7. सबसे बड़ा मनुष्य वही हैं जो अपने को दूसरों से छोटा समझे|
8. सबसे बड़ा सुख माता-पिता के चरणों में हैं|
9. अंधविश्वास अहंकार की निशानी हैं|
10. सदा अच्छे लोगो की संगती में रहो|
11. कर्म करते रहो, फल की इच्छा मत करो|
12. परिश्रम करने वालो की कभी हार नहीं होती|
13. मीठे वचन (बोल) से हम अपने शत्रु को भी अपना दोस्त बना सकते हैं|
14. सच्चा मित्र वही हैं, जो बुरे वक्त में काम आये|
15. दूसरों को माफ करना ज्ञानी व्यक्ति की निशानी हैं|
16. कर्म ही पूजा हैं|
17. कर्तव्य के प्रति निष्ठां रखो|
18. अशिक्षा अज्ञानी व्यक्ति की निशानी हैं|
19. कोई भी कार्य करने से पहले सोच-विचार कर लेना चाहिए|
20. बिना सोचे-समझे किये गए कार्य का परिणाम हमेशा बुरा होता हैं|
21. बलवान मनुष्य वही हैं, जो दूसरों को निचा न दिखाए|
22. कभी पाप का भागी मत बनो|
23. मेहनत कामयाबी की पहली सीढ़ी हैं|
24. दूसरों से कभी ईर्ष्या मत करो|
25. समय बड़ा बलवान हैं|
26. समय से पहले हमें कुछ भी हासिल नहीं होता|
27. सत्यम् शिवम् सुन्दरम्|
28. पप्प ही पुण्य को जन्म देता है|
29. अच्छे विचार ही मनुष्य को महान बनाते हैं|
30. अच्छे विचार से ही मनुष्य ज्ञानी कहलाता हैं|
31. मनुष्य का स्वर्ग माता-पिता के चरणों में होता हैं|
32. मेहनती वही हैं, जो कष्टों का सामना करता हैं|
33. मनुष्य की सबसे बड़ी सकती, आत्मशक्ति हैं|
34. जल ही जीवन हैं|
35. पेड़ों का विनाश अर्थात अपना विनाश|
36. सज्जन व्यक्ति पाप से डरता हैं, पापी से नहीं|
37. जिसे हम बना नहीं सकते, उसका विनाश नहीं करना चाहिए|
38. जैसी करनी, वैसी भरनी|
39. जहाँ चाह हैं, वही राह हैं|
40. लालच ज्ञानी मनुष्य को भी, अज्ञानी बना देती हैं|
41. व्यक्तित्व की पहचान कर्मो से होती हैं|
42. सेवा में ही मेवा हैं|
43. कल करे सो आज कर, आज करे सो अब, पल में प्रलय होतें, हे! मानव करेगा कब|
44. जो दुसरो को देख कर जलता हैं, उसका विनाश उसके हाथो स्वयं होता हैं|
45. समाजसेवा ही सर्वोपरि धर्म हैं|
2. मेहनत का फल मीठा होता हैं|
3. अपने से बडो का सम्मान करो|
4. सबका मालिक (परमेश्वर) एक हैं|
5. पपा से धृणा करो पापी से नहीं|
6. अहंकार मनुष्य के अंत (मृत्यु) की निशानी हैं|
7. सबसे बड़ा मनुष्य वही हैं जो अपने को दूसरों से छोटा समझे|
8. सबसे बड़ा सुख माता-पिता के चरणों में हैं|
9. अंधविश्वास अहंकार की निशानी हैं|
10. सदा अच्छे लोगो की संगती में रहो|
11. कर्म करते रहो, फल की इच्छा मत करो|
12. परिश्रम करने वालो की कभी हार नहीं होती|
13. मीठे वचन (बोल) से हम अपने शत्रु को भी अपना दोस्त बना सकते हैं|
14. सच्चा मित्र वही हैं, जो बुरे वक्त में काम आये|
15. दूसरों को माफ करना ज्ञानी व्यक्ति की निशानी हैं|
16. कर्म ही पूजा हैं|
17. कर्तव्य के प्रति निष्ठां रखो|
18. अशिक्षा अज्ञानी व्यक्ति की निशानी हैं|
19. कोई भी कार्य करने से पहले सोच-विचार कर लेना चाहिए|
20. बिना सोचे-समझे किये गए कार्य का परिणाम हमेशा बुरा होता हैं|
21. बलवान मनुष्य वही हैं, जो दूसरों को निचा न दिखाए|
22. कभी पाप का भागी मत बनो|
23. मेहनत कामयाबी की पहली सीढ़ी हैं|
24. दूसरों से कभी ईर्ष्या मत करो|
25. समय बड़ा बलवान हैं|
26. समय से पहले हमें कुछ भी हासिल नहीं होता|
27. सत्यम् शिवम् सुन्दरम्|
28. पप्प ही पुण्य को जन्म देता है|
29. अच्छे विचार ही मनुष्य को महान बनाते हैं|
30. अच्छे विचार से ही मनुष्य ज्ञानी कहलाता हैं|
31. मनुष्य का स्वर्ग माता-पिता के चरणों में होता हैं|
32. मेहनती वही हैं, जो कष्टों का सामना करता हैं|
33. मनुष्य की सबसे बड़ी सकती, आत्मशक्ति हैं|
34. जल ही जीवन हैं|
35. पेड़ों का विनाश अर्थात अपना विनाश|
36. सज्जन व्यक्ति पाप से डरता हैं, पापी से नहीं|
37. जिसे हम बना नहीं सकते, उसका विनाश नहीं करना चाहिए|
38. जैसी करनी, वैसी भरनी|
39. जहाँ चाह हैं, वही राह हैं|
40. लालच ज्ञानी मनुष्य को भी, अज्ञानी बना देती हैं|
41. व्यक्तित्व की पहचान कर्मो से होती हैं|
42. सेवा में ही मेवा हैं|
43. कल करे सो आज कर, आज करे सो अब, पल में प्रलय होतें, हे! मानव करेगा कब|
44. जो दुसरो को देख कर जलता हैं, उसका विनाश उसके हाथो स्वयं होता हैं|
45. समाजसेवा ही सर्वोपरि धर्म हैं|
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